Amar Krantikari Sukhdev by M. I. Rajasvi

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माँ भारती के सपूतों की स्वर्णमयी नामावली में ‘सुखदेव’ एक ऐसा नाम है, जिनके प्रति प्रत्येक भारतीय सहज ही श्रद्धानत हो उठता है। सुखदेव ऐसे महान् क्रांतिकारी थे, जिन्होंने भारतीय युवा क्रांति को नेतृत्व दिया। उन्होंने अंग्रेजों के अत्याचार, शोषण और दमन के विरुद्ध खुला युद्ध आरंभ कर दिया था।
सुखदेव ने पंजाब की पावन भूमि पर ऐसे वातावरण में जन्म लिया, जब भारतीय जन पराधीनता की बेडि़यों में जकड़े विदेशी शासन के अत्याचारों का शिकार हो रहे थे। चारों ओर अंग्रेजों के शोषण और कुकृत्यों के बीच मर्मांतक चीत्कारें ही सुनाई पड़ती थीं। असहाय जनमानस अंग्रेजों के हाथों का पिट्ठू बनकर रह गया था। इस तरह की घटनाओं को सुखदेव ने बड़ी निकटता से देखा था और बाल्यावस्था से ही उनके मन में अंग्रेजों से प्रतिकार लेने की भावना बलवती हो उठी थी।
प्रस्तुत पुस्तक अमर क्रांतिकारी सुखदेव में उनके विराट् व्यक्तित्व, जीवनशैली और स्वतंत्रता संग्राम में उनके योगदान पर दृष्टिपात किया गया है। उनके महान् जीवनचरित्र से जुड़ी अनेक महत्त्वपूर्ण घटनाओं को संक्षिप्त, सरल एवं सरस भाषाशैली में प्रस्तुत किया गया है।
किशोर, युवा और सभी आयु वर्ग के पाठकों के लिए प्रेरणाप्रद व उपयोगी पुस्तक।

Amar Krantiveer Chandrashekhar Azad by Bharat Bhushan

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अमर क्रांतिवीर चंद्रशेखर आजाद—भारत भूषण

भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास में चंद्रशेखर आजाद का नाम स्वर्ण अक्षरों में अंकित है। उनका मूल नाम चंद्रशेखर तिवारी था। भले ही लोग स्वतंत्रता-संग्राम में उनके योगदान को पूर्ण रूप से न जानते हों, लेकिन इतना अवश्य जानते हैं कि वे इस संग्राम के अग्रगण्य क्रांतिकारियों में एक थे और उनके नाम से बड़े-बड़े अंग्रेज पुलिस अधिकारी तक काँप उठते थे। बाल्यावस्था में ही उन्होंने पुलिस की बर्बरता का विरोध प्रकट करते हुए एक अंग्रेज अफसर के सिर पर पत्थर दे मारा था।
अपने क्रांतिकारी जीवन में आजाद ने कदम-कदम पर अंग्रेजों को कड़ी टक्कर दी। उन्होंने सुखी जीवन का त्याग करके कँटीला रास्ता चुना और अपना जीवन देश पर बलिदान कर दिया। भले ही वे अपने जीवन में आजादी का सूर्योदय न देख पाए, लेकिन गुलामी की काली घटा को अपने क्रांति-तीरों से इतना छलनी कर गए कि आखिरकार उस काली घटा को भारत की भूमि से दुम दबाकर भागना पड़ा।
महान् क्रांतिकारी, अद्वितीय देशाभिमानी एवं दृढ़ संकल्पवान् चंद्रशेखर आजाद के अनछुए जीवन-प्रसंगों के साथ संपूर्ण व्यक्‍तित्व का दिग्दर्शन करानेवाली अनुपम कृति।

Amar Suktiyan by Jayshri

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अमर सूक्‍तियां
सूक्‍त वचन ज्ञान का सार होते हैं। हमारे मनीषियों, विद्वानों, महापुरुषों, नीतिज्ञों के अनुभव, दर्शन और परिपक्व विचारों से हमारा जीवनपथ प्रशस्त होता है। सूक्‍तियाँ हमारी मानसिकता व विचारों का निर्माण करती हैं। अनेक अवसरों व परिस्थितियों में ये किसी सुहृद् मित्र की भाँति हमारा पथ-प्रदर्शन करती हैं। जीवन के महत्त्वपूर्ण निर्णयों की पूर्व-पीठिका तैयार करती हैं।
सूक्‍त वचनों की महानता, महत्ता एवं उपयोगिता को देखते हुए प्रस्तुत कृति तैयार की गई है। अत्यंत पठनीय, व्यावहारिक व संग्रहणीय सूक्‍तियों का संग्रह।

Amarfal by Raghavji Madhad

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जीवनलाल की विनती सुनकर पीछे खड़े दर्शनार्थी भी क्षण भर के लिए स्तब्ध रह गए। अंदर-अंदर चर्चा होने लगी। इधर गोरखनाथ रहस्यमय ढंग से हँसने लगे, मानो जीवनलाल को क्षणार्ध में समझ गए हों! उनकी हँसी सुहावनी और मनोरम लग रही थी। जीवनलाल के पीछे और अगल-बगल खड़े भक्त गोरखनाथ की यह झलक पाकर मन-ही-मन धन्य हो गए, परंतु जीवनलाल पर उसका कोई प्रभाव लक्षित नहीं हुआ। जीवनलाल की याचना ज्यों-की-त्यों थी।
‘‘जीवनलाल!’’
‘‘हाँ!’’ जीवनलाल चौंका। उसे आश्चर्य हुआ—नाथ मुझे नाम से जानते हैं! वह धन्य हो गया।
‘‘आत्मा तो अविनाशी है। उसे मृत्यु के क्षुद्र संबंध से नहीं जोड़ा जा सकता।… और यह मानव जीवन बार-बार नहीं मिलता। चौंसठ लाख योनियों से होकर गुजरने के बाद…’’
‘‘समझता हूँ नाथ!…सब समझता हूँ।’’ अपेक्षा और इरादे में तनिक भी फेर न पड़े, इसकी पूरी सावधानी रखते हुए जीवनलाल ने कहा, ‘‘इस समझ के रास्ते पर चलकर ही आपके पास इच्छा-मृत्यु के लिए आया हूँ।’’
—इसी पुस्तक से
गुजराती पाठकों द्वारा प्रशंसित ममस्पर्शी, संवेदनशील, भावनात्मक, मनोरंजक एवं सुरुचिपूर्ण ये कहानियाँ हिंदी पाठकों को भी प्रभावित किए बिना नहीं रहेंगी।

Amarnath Yatra by Amit Kumar Singh

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यात्रा जीवन का रोमांच है। यात्रा का बाहरी-सुख अंतस के आनंद को भी झंकृत करता है। इसलिए यात्रा करना जहाँ आनंदप्रद होता है, वहीं यह उस स्थान की सभ्यता-संस्कृति को भी जानने का अवसर देती है। तीर्थ स्थलों की यात्रा आनंद के साथ-साथ हमें भक्ति और श्रद्धा से ओत-प्रोत कर देती है।
ऐसी ही एक अत्यंत पवित्र अमरनाथ-यात्रा संपूर्ण दृष्टि से सत्यं शिवं सुंदरम् का जीवंत रूप है। अमरनाथ-यात्रा के दौरान, जब प्रकृति का अनुपम सौंदर्य, अनायास उद्घाटित होता है, तभी यह समझ आता है कि हिंदू-परंपरा में सौंदर्य को सत्य और शिव के समकक्ष क्यों स्थान दिया गया है! यों ही यात्रा में तीर्थयात्रियों की अप्रतिम श्रद्धा, सेना की चुस्ती और स्थानीय-कश्मीरियों के अकल्पनीय-सहयोग से एक शुभ और संगीतमय वातावरण निर्मित हो जाता है। यहाँ शुभ से मिलन है। अमरनाथ-यात्रा भारत की आत्मा का गहन अवलोकन भी है। भारत सत्य के प्रयोग की अनूठी भूमि रही है। यहाँ सत्य की गहरी प्यास देखी जा सकती है। अमरनाथ-यात्रा इसकी बानगी प्रस्तुत करती है।
अमरनाथ-यात्रा की इस वृत्तांत-गंगा में डुबकी लगाने के लिए आप सभी पाठकों का आमंत्रण है। बस आपको पूर्व धारणाओं, किस्सों और मान्यताओं का वस्त्र अनावतरित करना पड़ेगा। यह थोड़ा कठिन है, परंतु असंभव नहीं। तभी इस डुबकी में हमें आनंद की झलक मिल सकेगी। संपूर्ण अमरनाथ यात्रा का सरस एवं तथ्यपरक रोमांचक वर्णन।

Amazon Success Story by Sanjay Bhola ‘Dheer’

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Amazon सक्सेस Story—एक ऐसा मंच है, जो ग्राहक को सूई जैसी छोटी वस्तु से लेकर घर-दफ्तर की तमाम वस्तुएँ खरीदने को आमंत्रित करता है। एक ऐसी कंपनी है, जो एक मकान के छोटे से गैराज से शुरू हुई और आज अमेरिका के ऊँची-ऊँची इमारतोंवाले सिएटल जैसे महँगे शहर में सबसे अधक क्षेत्रफलवाले ऑफिस के नाम से जानी जाती है। एक ऐसी कंपनी, जिसकी शुरुआत माता-पिता की जमापूँजी से इस शर्त पर हुई कि उनकी सारी जिंदगी की कमाई एक ऐसे काम में लगने जा रही है, जिसमें 70 प्रतिशत घाटे की उम्मीद थी। एक ऐसी कंपनी, जिसने पुस्तकों को ऑनलाइन बेचने जैसे छोटे से विचार को अपने व्यापार का लक्ष्य बनाया और आज विश्व की सबसे बड़ी ऑनलाइन कंपनी के रूप में स्थापित है, उसी बहुचर्चित कंपनी के मालिक हैं—जेफ बेजोस!
प्रस्तुत पुस्तक में खरीदारी के बदलते स्वरूप के बारे में बात करते हुए विशेष रूप से Amazon सक्सेस Story की जानकारी प्रस्तुत की है, जो पाठकों को इस विशालतम ऑनलाइन शॉपिंग सेवा के बारे में ऐसी अनूठी व विस्तृत जानकारी देती है, जो उन्हें सोचने पर विवश कर देती है कि Amazon सक्सेस Story एक विलक्षण कंपनी है और जेफ बेजोस एक अद्भुत व्यक्ति। इतनी बड़ी कंपनी को बिल्कुल छोटे स्तर से उठाकर इतने ऊँचे मुकाम तक ले जाना आसान तो नहीं ही था, परंतु कहते हैं न कि जहाँ चाह होती है, वहाँ राह अवश्य मिलती है।
एक साधारण मनुष्य जेफ बेजोस के अप्रतिम साहस, बुद्धिमत्ता व जीवटता की प्रेरक गाथा।

Ameer Banane Ka Vigyan by Wallace D. Wattles

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वालेस डी. वॉटल्स ने संसार को सकारात्मक सोच की शक्ति से परिचित कराया। अपनी पुस्तक में वॉटल्स मानव मन की शक्ति पर जोर देते हैं कि हमारे सोचने का तरीका धन को हमारे करीब ला सकता है या उसे दूर कर सकता है। उनका कहना है कि ऐसे कुछ नियम हैं, जिनका धन कमाने की प्रक्रिया पर नियंत्रण होता है। एक बार इन नियमों का पालन कर लिया जाए तो कोई भी व्यक्ति निश्चित रूप से अमीर बन सकता है। अतः धन कमाने के नियम को उनसे जानिए, अमीर बनने के रहस्य को जानिए, जिसकी शुरुआत आप जहाँ हैं, वहीं से होती है और जो कुछ आपके पास है, उसी से होती है। अमीर बनने का विज्ञान इस रहस्य को बताता है कि दौलत को व्यावहारिक तरीके से, इच्छा के अनुसार और किसी प्रकार की होड़ किए बिना ही, जीवन के साथ स्नेह और सौहार्दपूर्ण संबंध बनाए रखकर हासिल किया जा सकता है। अमीर बनने का यह विज्ञान के 100 वर्षों से भी अधिक समय बाद भी प्रासंगिक बना हुआ है।
जब तक किसी व्यक्ति के पास पर्याप्त पैसा नहीं है, तब तक वह अपनी प्रतिभा या सोच के सर्वोच्च स्तर तक नहीं पहुँच सकता है, क्योंकि मन और प्रतिभा के विकास के लिए उसके पास इस्तेमाल की चीजें होनी चाहिए, और जब तक उसके पास इनके लिए पैसा नहीं होगा, तब तक वह इन्हें खरीद नहीं सकता।

America Ki Shreshtha Kahaniyan by Mozej Michael

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‘‘ठीक है, जैसा तुम कहो; लेकिन मुझे नहीं लगता कि तुम्हें बीमारी के मामले में कोई ज्यादा तजुरबा है और तुम्हारी मदद करके मुझे खुशी ही होती! जब तुम्हारे पति की ऐसी हालत होती है तो अमूमन तुम क्या करती हो?’’
‘‘मैं…मैं उन्हें सोने देती हूँ।’’
‘‘बहुत ज्यादा सोना भी सेहत के लिए बहुत अच्छा नहीं होता। तुम उन्हें कोई दवा नहीं देतीं?’’
‘‘ह…-हाँ।’’
‘‘तुम दवा के लिए उन्हें जगाती नहीं?’’
‘‘हाँ।’’
‘‘अगली खुराक वह कब लेते हैं?’’
‘‘अभी दो घंटे तक नहीं।’’
वह महिला निराश हो गई—‘‘देखो, अगर तुम्हारी जगह मैं होती तो मैं और जल्दी-जल्दी दवा देती। अपने घरवालों के साथ मैं यही करती हूँ।’’
—इसी पुस्तक से

अमेरिका का वैभव, उसकी शक्ति, उसका सामर्थ्य समस्त विश्व को अपनी ओर आकर्षित कर लेता है। परंतु चकाचौंध भरे अमेरिकी जनजीवन को करीब से देखें तो वहाँ भी सामाजिक-आर्थिक विषमताएँ हैं, जो संवेदनशील मन को झकझोर देती हैं। प्रस्तुत है ऐसी ही मर्मस्पर्शी कहानियों का संकलन।

Amir Khan by Pradeep Chandra

SKU: 9789352661053

अभिनेता, निर्माता, निर्देशक आमिर खान के इतने रूप हैं कि इन्हें किसी एक पुस्तक में समेटना लगभग असंभव है। लेखक व फोटोग्राफर प्रदीप चंद्रा ने आमिर के कॅरियर की उस राह को समझने का दुर्गम प्रयास किया है, जिस पर चलकर वह भारतीय फिल्म कला में महत्तम योगदान देने के साथ ही बड़ी आबादी को प्रभावित करनेवाले व्यक्ति के रूप में उभरे।
यह पुस्तक लेखक की ओर से उस सुपर स्टार तथा उसके पीछे के व्यक्ति को एक भेंट है। आमिर के शुरुआती दिनों से ही उनकी तसवीरें लेनेवाले फोटोग्राफर चंद्र ने इसमें वे शानदार तसवीरें, पेंटिंग, स्कैच और अविस्मरणीय तसवीरें शामिल की हैं, जो आमिर की उनकी कला के प्रति गंभीरता व समर्पण दरशाती हैं। चंद्र ने आमिर के कॅरियर का अध्ययन उनकी यात्रा का निर्माण करने में महत्त्वपूर्ण रहे लोगों, स्थानों व हालात को समझने की दृष्टि से किया है। उन्होंने आमिर की उस तकनीक को खँगाला, जिससे उन्होंने इस अनुमान-आश्रित कारोबार में कला व व्यापार दोनों का मिश्रण कर आलोचकों को प्रसन्न करने के साथ ही दर्शकों को भी आकर्षित करने का असाधारण कार्य कर दिखाया।
इस पुस्तक की भूमिका के लेखक रजत शर्मा हैं।

Anand Prakash Jain Ki Lokpriya Kahaniyan by Anand Prakash Jain

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श्री आनंद प्रकाश जैन हिंदी साहित्य के प्रसिद्ध लेखक रहे हैं। पचास से अस्सी के दशक तक उनके नाम की खूब धूम थी। उनकी सभी सामाजिक और ऐतिहासिक रचनाओं को दिल खोलकर पाठकों ने सराहा। इस संग्रह में उनकी तेरह चुनी हुई ऐतिहासिक, सामाजिक और हास्य कहानियों का संग्रह है। एक अंतराल के बाद इस कृति को उनके प्रशंसकों के सामने रखते हुए हमें प्रसन्नता हो रही है। ‘रथ के पहिए’, ‘काली बेगम’, ‘अग्निपुरुष’, ‘गिरिजे का कंगूरा’, ‘अंतिम नग’, ‘अंतिम अस्त्र’, ‘हर्ष के आँसू’ और ‘पीले हाथ’ उनकी ऐतिहासिक कहानियाँ हैं। ‘बोलने वाला बुत’ एक हास्य-कथा है। अपनी ऐतिहासिक कहानियों में उन्होंने ऐतिहासिक तथ्यों की सत्यता को बरकरार रखा। ‘रथ के पहिए’ में अहिंसा धर्म के पालक सम्राट् अशोक का हिंसक चेहरा, ‘अंतिम नग’ में बानों की सहेली बदरुन्निसा का उसके प्रति निश्छल प्रेम इसके उदाहरण हैं। इनमें से ज्यादातर कहानियों में नायिकाएँ पत्नी, दासी, नर्तकी रानी या विषकन्या हर रूप में नारी अन्याय के विरुद्ध आवाज उठाती नजर आती हैं। इन मार्मिक कहानियों में नारी पात्रों में अपने आदर्शों, सिद्धांतों, कर्तव्यों व अधिकारों के लिए अपने प्राणों की आहुति देते सशक्त नारी के दर्शन होते हैं।
ये सभी कहानियाँ आपको आधुनिक समस्याओं में घिरे समाज से परिचित कराती हैं। श्री जैन के शारीरिक अवसान के बाईस साल हो गए। लेकिन आज भी इस उनकी कहानियाँ आधुनिक समाज का प्रतिनिधित्व करती हैं। सभी पाठकों के लिए यह संग्रह उनकी एक अनुपम भेंट ही तो हैं।

Anand-Lehar by Ramchandra Dwivedi

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यह सृष्टि द्वंद्वमय है। जीवन के प्रत्येक क्रिया-कलाप के साथ सम-विषम भाव जुडे़ हुए हैं। लेखनी या वाणी तो सीमित साधनमात्र है।
पद्यमय रचना पाठकों को अच्छी लगती है, अतः तुकांत पदों में रचना होने लगी। हर्ष, आनंद, खुशी, उल्लास, आमोद-प्रमोद, प्रसन्नता के ही पर्याय हैं। आनंद की अनुभूति केवल ठहाके लगाने या मुसकराने से ही नहीं होती। जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में खुशी की खोज की जा सकती है। प्रस्तुत पुस्तक में हम व्यावहारिक जगत् के कुछ विषयों का संक्षेप में उल्लेख कर रहे हैं, जो आनंद-प्राप्ति में साधनरूप हैं—हास्य के स्रोत, हँसी का महत्त्व, काल और स्थान, मानव-स्वभाव, श्रम का महत्त्व, सांसारिक संबंध, प्राचीन साधन, सुख की खोज, आशा का बंधन, मन की पहचान, सज्जन-दुर्जन, जड़-चेतन में हास्य, वाणी का महत्त्व, परसेवा, परिश्रम तथा भाग्य, सुख-साधन, जगत्-धर्म, प्रकृति के वरदान, कृत्रिमता, कंप्यूटर-युग आदि।
व्यक्ति के उत्थान-पतन से जुड़े ये विचार पठनीय तो हैं ही, संग्रहणीय भी हैं। हर आयु-वर्ग के पाठकों के लिए यह पुस्तक रोचक, ज्ञानवर्धक और आनंददायक है।

Ande Se Nikla Aadmi by Sudha Murthy

SKU: 9789352667277

इस घटना के बाद विनता ने अपने दूसरे अंडे का पूरा ध्यान रखा और पिछली भूल से सबक लेकर इस बार उसने अंडे को नहीं तोड़ा। महीने और साल बीत गए।
अंत में, एक दिन अंडा अपने आप टूटा और शक्तिशाली पंखों तथा पक्षी जैसे चेहरे वाला एक व्यक्ति उससे बाहर निकला। उसने कहा, ‘‘माता, मैं आ गया। आपके धैर्य के लिए आपका आभारी हूँ। मैं शक्तिशाली हूँ और कहीं भी उड़कर जा सकता हूँ। मैं शक्तिशाली गरुड हूँ। मैं भगवान् विष्णु और उनकी पत्नी लक्ष्मी का वाहन बनूँगा। मैं वचन देता हूँ कि मैं आपको दासता से मुक्ति दिलाऊँगा।’’
इसके बाद वह दूर आकाश में उड़ गया। उसकी माता उसे गर्व से देख रही थीं। प्रसन्न थीं कि अंततः वे उसे देख पाईं और उसने उन्हें दासता से मुक्त कराने का वचन दिया है।
विनता ने अपनी मुक्ति के लिए बहुत लंबी प्रतीक्षा की थी।
—इसी पुस्तक से

Andhera Ja Raha Hai by Ramesh Pokhariyal ‘Nishank’

SKU: 9789352662548

आज हमारे जीवन से आनंद सूख सा रहा है और यह प्रक्रिया सतत गतिमान है। मेरा प्रयास रहेगा कि हम इस प्रवाह को रोक सकें। इस महायज्ञ में हम सभी अपनी-अपनी समिधाओं से अपना बचाव कर सकते हैं। मूलतः साहित्य का भी यही दायित्व है। वह एक ओर हमें अनुशासित करता है तो दूसरी ओर हमें जीवन का शिष्टाचार भी सिखाता है। अपने भीतर के सौंदर्य और गहराई को निहारने की एक अनूठी प्रक्रिया इन क्षणिकाओं में निरंतर प्रवाहमान है, साथ ही यह प्राणों की ऊर्जा के अपव्यय का समापन भी करती है। क्षणिकाओं के संदर्भ में यह मेरा पहला प्रयास है। जीवनानुभूतियों के लघुत्तम कलेवर को मैंने इस प्रकार परोसने का प्रयास किया है कि उनकी कसावट को प्रत्येक सहृदय अनुभव कर सके। यों भी संबंधों के संबंध में अपने ही धागों से बुनावट करनी होती है।
ये क्षणिकाएँ जैसी हैं, बिल्कुल अपने जैसी हैं। धीरज इनका ध्रुव-बिंदु है और उनमें व्यक्तित्व का ठहराव एकनिष्ठ स्वयं में तल्लीन लगभग अनियारे जीवन की संवेदनात्मक अनुभूति हैं। आशा है पाठकवृंद को मेरी अनुभूतियाँ अच्छी लगेंगी।

Andhere Se Ujale Ki Ore by Arun Jaitley

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हालाँकि टेलिकॉम सेवाओं में काफी विस्तार हुआ है, लेकिन अब स्पेक्ट्रम नीलामी के लिए कोई तैयार नहीं। नए निवेशक इस क्षेत्र में आने से हिचक रहे हैं और जो लोग इसमें निवेश कर चुके हैं, वे लाभ कमाने के बाद भी उस माहौल पर अफसोस जता रहे होंगे, जिसमें वे काम कर रहे हैं। सफलता की यह कहानी नाकाम क्यों हो गई? शुरुआत में प्रधानमंत्री ने दूरसंचार विभाग ऐसे मंत्री को सौंपा, जिनके हित खुद इससे जुड़े हुए थे। संप्रग सरकार के पहले दूरसंचार मंत्री के खिलाफ आपराधिक जाँच जारी है।
सीबीआई यूपीए सरकार की महज एक राजनीतिक इकाई बनकर रह गई। सीबीआई निदेशक के रूप में नियुक्त किए गए अधिकारी भी सरकार के दबाव में काम करते रहे और उन्होंने इस जाँच एजेंसी का इस्तेमाल गंभीर अपराधों की जाँच के लिए नहीं, बल्कि सत्तारूढ़ दल के राजनीतिक हितों की रक्षा के लिए किया। सीबीआई द्वारा बसपा की नेता के खिलाफ दायर किए गए मामले में अपना काम किया और बहुजन समाज पार्टी द्वारा दिखाई गई राजनीतिक अवसरवादिता से यह बात साबित भी हो गई।
—इसी पुस्तक से
—इसी पुस्तक से

Andhkar Bela by Suchitra Bhattacharya

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‘कहते हैं, सारा-का-सारा ऑपरेशन प्लान माफिक किया गया। कल दिन भर, रात भर चूँकि धरना पर बैठे लोगों को हिला नहीं पाए, इसलिए भोर-रात बेधड़क लाठियाँ चलाई गईं, बिलकुल अचानक! लोगों को कुत्ते-बिल्ली की तरह दौड़ाते रहने के बाद भी बाबू लोगों का गुस्सा कम नहीं हुआ। जमीन देने को अनिच्छुक लोग अपनी रीढ़ सीधी करके खड़े न हो पाएँ, इसके लिए उन लोगों ने चड़कडाँगा गाँव चुन लिया। पुलिस और गुंडों का गिरोह…हाँ, पुलिस के जत्थे में बाहर के गुंडे भी शामिल थे। उन लोगों ने अचानक ही गाँव पर हमला बोल दिया। घर-द्वार तहस-नहस कर दिया, बच्चे-बूढ़े-जवानों को निर्ममता से पीटा, बहू-बेटियों की इज्जत लूटी। कुछ भी नहीं छोड़ा।’
जया ने पूछा, ‘हाँ जी, एक बहुरिया को घसीटते-घसीटते यूँ लात चला रहे थे कि…’
—इसी उपन्यास से

जीवन के विविध रंगों—हर्ष, विषाद, उल्लास में रँगा—सामाजिकता की नींव पर मजबूती से खड़ा सशक्‍त उपन्यास।

Angoothachhap Hastakshar by Dr. ravi Sharma ‘madhup’

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फ्लैप मैटर-1
इस व्यंग्य संकलन की रचनाओं को पढ़कर मैं कह सकता हूँ कि डॉ. रवि शर्मा ‘मधुप’ में विसंगतियों को पहचानने का माद्दा है। रचना में प्रत्येक शब्द उचित जगह पर प्रयोग करना उनकी खूबी है, इसलिए उनके व्यंग्य चाहे कथा हैं या लेख, वे सफल व्यंग्य हैं।
—डॉ. शेरजंग गर्ग
वरिष्ठ व्यंग्यकार

डॉ. रवि शर्मा ‘मधुप’ ने विभिन्न विषयों पर अपने व्यंग्य-बाण चलाए हैं। उनके तरकश का सैंसेक्स काफी बढ़ता नजर आया है। जुगाड़, तिकड़म और चलते पुर्जों का जोर, लोकतांत्रिक शक्तियों की तानाशाही, समाजवादी अभिलाषाओं का असामाजिक होना, नई पीढ़ी की त्रिशंकुता और बुद्धिजीवियों का पलायनवाद—वे मुख्य मुद्दे हैं, जो इस व्यंग्य संकलन में उभरे हैं।
समाज की नब्ज़ को पकड़ते और पढ़ते रहने की आदत ने डॉ. रवि शर्मा ‘मधुप’ के व्यंग्यकार के कद को यकीनन बड़ा किया है। वे अपने सामाजिक सरोकारों से रूबरू होते हैं, इसका प्रमाण उनके सामाजिक विश्लेषण देते हैं। उनके लेखन में सूक्तियाँ बड़ी मारक होती हैं। इस संकलन में भी ये प्रभावित करती दिख रही हैं। व्यंग्यकार को अनेक शैलियाँ अपनाने की छूट होती है। डॉ. रवि शर्मा ‘मधुप’ ने यह छूट लूट ली है—अनेकानेक शैलियों में कथ्य को बाँधा, कुछ अपनी शैली भी निर्मित की है। यह साधुवाद की बात है।
—डॉ. हरीश नवल,
प्रतिष्ठित व्यंग्यकार

फ्लैप-2
डॉ. रवि शर्मा ‘मधुप’ के इस व्यंग्य संकलन में उनका विषय-वैविध्य बहुत प्रभावित करता है। उनका शिल्प पक्ष बेजोड़ है। कई जगह वे ऐसे अनूठे प्रयोग करते हैं कि पाठक चौंक जाता है। वक्रोक्ति और वाग्वैदिग्ध्य का प्रभावी मिश्रण इस संकलन की उल्लेखनीय विशेषता है। डॉ. रवि शर्मा ‘मधुप’ व्यंग्य निबंधों की अपेक्षा व्यंग्य कथा लिखने में अधिक सहज हैं। इस संकलन में उनकी जो व्यंग्य कथाएँ हैं, वे उच्च कोटि की हैं।
—डॉ. सुभाष चंदर
प्रसिद्ध व्यंग्यालोचक

डॉ. रवि शर्मा ‘मधुप’ के इस व्यंग्य संकलन से गुजरते हुए एक बात जो लगातार महसूस होती रही है, वह यह है कि वे सांस्कृतिक सवालों से इतर सामाजिक-प्रशासनिक, यहाँ तक कि कहीं-कहीं राजनीतिक सवालों तक में भी अपनी दृष्टि-संपन्नता का कुछ-कुछ परिचय अवश्य देते रहे हैं। बेशक सोच का यही आधार परिपक्व होने पर इस दमनचक्र को तोड़ने में कारगर भूमिका का निर्वाह भी करेगा। डॉ. रवि शर्मा ‘मधुप’ अपनी प्रवाहमयी, सरस, रोचक शैली से पाठकों को अभिभूत करने के साथ बाँधने की अद्भुत क्षमता रखते हैं। उनका यह प्रकाश्य व्यंग्य संकलन अपने कथ्य की ताजगी और उक्ति-वैचित्र्य की जीवंतता से आम पाठक को सम्मोहित करने में सफल होगा।
—राजेंद्र सहगल
प्रसिद्ध व्यंग्यकार

Animal Farm by George Orwell

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‘एनिमल फार्म’ जॉर्ज ऑरवेल का लाक्षणिक लघु उपन्यास है, जो उन घटनाओं का वर्णन करता है, जिनके कारण 1917 की रूसी क्रांति हुई और फिर सोवियत संघ में स्टालिन का युग आया। एक फार्म पर आधारित इस उपन्यास में उन पशुओं का विद्रोह होता है, जो मनुष्यों पर आधिपत्य चाहते हैं। मिस्टर जॉन्स के फार्म में रहनेवाले पशु मनुष्यों की सेवा करते-करते थक चुके हैं और उन्हें लगता है कि मनुष्यों द्वारा अपनी सारी आवश्यकताओं के लिए पशुओं का इस्तेमाल किया जाना घोर शोषण है। क्रांति की शुरुआत उस दिन होती है, जब मिस्टर जॉन्स पशुओं को चारा देना भूल जाते हैं। इसके बाद पशुओं ने नेपोलियन और स्नोबॉल नाम के दो सूअरों के नेतृत्व में मनुष्यों पर आक्रमण करने और फार्म पर कब्जा जमाने की योजना बना ली।
संवेदना और मर्म को स्पर्श करनेवाले विश्वप्रसिद्ध उपन्यास का सुंदर अनुवाद, जो पाठकों को बाँध लेगा।

Anjora by Sanjay Sinha

SKU: 9789352664245

जब अँधेरा दूर होता है,
तब अंजोरा होता है।
जब आँखों को दिखना शुरू होता है, तब अंजोरा होता है।

Ankur by Meenu Marshalin

SKU: 9789387980822

कविता लेखन वास्तव में एक कठिन कार्य है। कविता को लिखते समय भाषा, भावाभिव्यक्ति, प्रतीकों एवं बिंबों आदि के प्रस्तुतीकरण में सर्वथा नियंत्रण रखना आवश्यक होता है। कविता की कोई सीमा नहीं होती, वह सर्वत्र अपनी सुगंध फैलाती है। कविता की कभी उम्र नहीं ढलती, उसे जब भी पढ़ो, वह हमेशा ताजगी भरी होती है। कवि तो जन-मानस का चितेरा होता है। कोई भी कविता लिखने के लिए उसे कितने नीचे धरातल पर उतरना पड़ता है, ये वही जानता है। कवि की यही विवशता कविता के सृजन के महत्त्व को प्रकट करती है। इस संग्रह में संकलित कविताओं को मोटे तौर पर दो कोटियों में रखा जा सकता है। प्रथम कोटि की कविताएँ, जिनमें प्रकृति, संस्कृति, मनोरंजन की वस्तुएँ तथा आश्चर्यजनक, आख्यानों से संबंधित तथा द्वितीय कोटि में मानवीय उदात्त गुणों का समावेश है, जो राष्ट्रीय भावना, सच्चरित्रता, ईमानदारी एवं सत्यप्रेम आदि मानव गुणों को विकसित कर मानव को सत्यमार्ग पर चलने की प्रेरणा प्रदान करने में सर्वथा समर्थ हैं। प्रस्तुत संग्रह यदि अपने उद्देश्यों की पूर्ति में तनिक भी सफल रहा, तो मैं अपने प्रयास को सफल समझूँगी तथा निकट भविष्य में अन्य उपयोगी कृतियाँ पाठकों को भेंट करने की चेष्टा करूँगी।

Antarctic: Rahasya Aur Romanch Ka Mahadwip by Dr. Kamla Prasad Mishra, Dr. Shashi Bala Singh

SKU: 9789386871909

अंटार्कटिक पृथ्वी का दक्षिणतम एवं पाँचवाँ सबसे बड़ा महाद्वीप है। यह चारों ओर से दक्षिण महासागर से घिरा हुआ है तथा विश्व का सबसे ठंडा, शुष्क और तेज हवाओं वाला महाद्वीप है। अंटार्कटिक को एक बर्फीला रेगिस्तान माना जाता है। अंटार्कटिक के कठिन वातावरण में ग्रीष्मकालीन और शीतकालीन सदस्य वैज्ञानिक अनुसंधान के लिए वहाँ पर बनाए गए स्टेशनों पर निवास करते हैं। भारत के लिए अंटार्कटिक के विशेष महत्त्व को ध्यान में रखकर ही सन् 1981 से हमारे वैज्ञानिकों का एक दल हर वर्ष वहाँ जाता है और अध्ययन एवं प्रयोग करता है। अंटार्कटिक में सर्दियाँ बिताना एक तरह से अंतरिक्ष यात्रा के अनुरूप माना जाता है, क्योंकि मिशन की अवधि, अति चरम वातावरण, एकाकीपन, मिशन से संबंधित कार्य-कलाप, अनिद्रा जैसे तमाम कारक लंबी अवधि की अंतरिक्ष उड़ान के समतुल्य होते हैं। इस पुस्तक में अंटार्कटिक वातावरण और अंतरिक्ष में रहने के दौरान शरीर पर पड़नेवाले प्रभाव को रोचक और सारगर्भित तथ्यों के साथ प्रस्तुत किया गया है। रॉबर्ट फाल्कन स्कॉट और रोल्ड अमंड्सन के दक्षिण ध्रुव पर पहले विजय प्राप्त करने की होड़ तथा दोनों के अभियानों को प्रबंधन की कुशलता की दृष्टि से विश्लेषित किया गया है। प्रस्तुत पुस्तक में हमने अंटार्कटिक के मौसम, भूगोल, जीव-जंतु, शीतदंश, ओजोन छिद्र की खोज, पोषण, भारत के वैज्ञानिक अभियान, योग द्वारा तनाव प्रबंधन तथा उस वातावरण में रहने का अनुभव आदि विषयों पर विस्तार से प्रकाश डाला है। आशा है, यह रोचक पुस्तक अंटार्कटिक में होनेवाले वैज्ञानिक अनुसंधानों को आम जनमानस तक पहुँचाने में सफल होगी।

Antarctica Bhavishya Ka Mahadweep by Shyam Sunder Sharma

SKU: 9788177212433

पृथ्वी के एकदम दक्षिणी भाग में स्थित अंटार्कटिक अन्य महाद्वीपों से भिन्न है। वह एकदम निर्जन, सबसे अधिक बर्फीला और ठंडा तथा अत्यंत वेगवान् पवनों का प्रदेश है। वहाँ वनस्पति के नाम पर केवल काई उगती है और जंतु के नाम पर पंखहीन मक्खी ही निवास करती है। भारत और चीन के सम्मिलित क्षेत्र से भी अधिक भूमि को घेरे हुए अंटार्कटिक में मात्र कुछ सौ वैज्ञानिकों और उनसे संबंधित लोगों की बस्ती है, पर इनमें से अधिकांश लोग पृथ्वी के अन्य भागों में आते-जाते रहते हैं।
वह पृथ्वी की, विशेष रूप से दक्षिणी गोलार्द्ध की, जलवायु को अत्यधिक प्रभावित करता है। उसे चारों ओर से घेरे अंटार्कटिक महासागर में खाद्य प्रोटीनों से युक्‍त क्रिल और मछलियों का विपुल भंडार है। वहाँ अनेक उपयोगी खनिजों के भी विशाल भंडार हैं।
भारत के लिए अंटार्कटिक का विशेष महत्त्व है। सुदूर अतीत में, भारतीय प्राय:द्वीप और अंटार्कटिक एक ही थल-खंड (गोंडवाना लैंड) के अभिन्न अंग थे। अतएव भारतीय प्राय:द्वीप की प्राकृतिक संरचना की सही जानकारी अंटार्कटिक से प्राप्‍त हो सकती है। अंटार्कटिक महासागर मानसून पवनों की उत्पत्ति को प्रभावित करता है और फलस्वरूप उस महासागर का पानी हिंद महासागर में आता रहता है। भारत के लिए अंटार्कटिक के विशेष महत्त्व को ध्यान में रखकर ही सन् 1981 से हमारे वैज्ञानिकों का एक दल हर वर्ष अंटार्कटिक जाता है और वहाँ अध्ययन एवं प्रयोग करता है। भारत ने वहाँ स्थायी अध्ययन एवं प्रयोग केंद्र भी स्थापित किया है।
प्रस्तुत पुस्तक में भविष्य के इस महाद्वीप की निर्माण प्रक्रिया, उसके खोज का इतिहास, जलवायु, बर्फ, खनिज, अंटार्कटिक महासागर के जीव-जंतु और भारतीय वैज्ञानिकों द्वारा किए गए अध्ययनों आदि के वर्णन हैं।

Antariksh Ki Kahani, Antariksh Yatriyon Ki Zubani by Kali Shankar

SKU: 9788177211658

अंतरिक्ष की कहानी अंतरिक्ष यात्रियों की जुबानी—काली शंकर

अंतरिक्ष अन्वेषण और अंतरिक्ष में जाकर विभिन्न प्रकार के कार्य करना, अंतरिक्ष से पृथ्वी अवलोकन इत्यादि बातें एक सामान्य व्यक्‍ति के लिए स्वप्न ही लगती हैं। अंतरिक्ष के नाम से ही एक रोमांच पैदा हो जाता है—कैसी होगी वह दुनिया, कैसे वहाँ जाया जाएगा, कैसे रहा जाएगा, खान-पान, दैनंदिन कार्य और सबसे ऊपर—वहाँ रहकर प्रयोग करना, खोज करना—एक सनसनाहट सी अनुभव करवा देता है।
‘अंतरिक्ष की कहानी, अंतरिक्ष यात्रियों की जुबानी’ में अंतरिक्ष यात्रियों ने अपनी शिक्षा के विषय में तथा शिक्षा के दौरान हुई आर्थिक परेशानियों का जिक्र किया है। स्पेस शटल की प्रथम महिला कमांडर के पिता उसे पढ़ाना चाहते थे; लेकिन उनके पास बेटी को पढ़ाने के लिए पैसे नहीं थे। बेटी ने छोटी-छोटी नौकरी करके शिक्षा के लिए धन अर्जित किया। जॉन ग्लेन एक प्लंबर के बेटे थे; सभी स्पेस शटलों से यात्रा कर चुके विख्यात सर्जन डॉ. स्टोरी मुसाग्रेव एक किसान के बेटे थे। लेकिन जीवन का यह सत्य है कि प्रतिभा पैसे की मोहताज नहीं होती। अभावों में जीवन जीने के बावजूद ये लोग विश्‍वविख्यात अंतरिक्ष यात्री बने।
इसमें अंतरिक्ष अन्वेषण के विभिन्न पहलुओं के बारे में अंतरिक्ष यात्रियों द्वारा विस्तार से तथा रोचक-प्रश्‍नोत्तर शैली में बताया गया है, जो ज्ञानपरक तो है ही, रोमांचपूर्ण भी है।
अंतरिक्ष की रोचक जानकारियों से भरपूर पठनीय पुस्तक।

Antariksha Mein Jeevan by Kali Shankar

SKU: 9789382898849

अंतरिक्ष में रहना आसान नहीं है। कपड़े धोना और खाना-पीना अंतरिक्ष की भारहीनता में बहुत जटिल प्रक्रियाएँ बन जाती हैं। छोटे-से-छोटा कार्य भी अंतरिक्ष में, जहाँ पर सभी चीजें भारहीन होकर तैर रही हों, चुनौतीपूर्ण बन जाता है। प्रस्तुत पुस्तक में, अंतरिक्ष में जीवन के विभिन्न पहलुओं-भोजन, शयन, स्पेस सूट, स्पेस वॉक, तैरना, व्यायाम इत्यादि को विस्तृत रूप में चित्रों के माध्यम से समझाया गया है। अंतरिक्ष में जीवन-शैली के ऊपर एक प्रश्नोत्तरी भी प्रस्तुत की गई है, जिसके उत्तर अंतरिक्ष में जा चुके अंतरिक्ष यात्रियों और अंतरिक्ष विशेषज्ञों द्वारा दिए गए हैं। विश्वास है, यह पुस्तक विद्यार्थियों, अंतरिक्ष विज्ञान में रूचि रखनेवाले पाठकों एवं सामान्य जन के लिए समान रूप से उपयोगी सिद्ध होगी।

Antarrashtriya Atankvad by Vinod Sehgal

SKU: 8173154465

अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद
प्रस्तुत पुस्तक में लेखक ने स्थापित तथ्यों की सरल गलियों के परे जाकर अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद के खिलाफ युद्ध की बड़ी ही कष्टकारी झलक दिखाई है, युद्धों की बदलती प्रवृत्ति को उजागर करते हुए आतंकवादी कृत्यों से संबंधित विषमता के तत्त्व से निपटने के संबंध में वह एक नया दृष्टिकोण प्रदान करते हैं और बताते हैं कि किस प्रकार कई वैकल्पिक रणनीतियों को उपेक्षित करते राष्ट्रीय प्रतिक्रिया प्रारूप, अब भी प्रतिशोधात्मक क्षमता के अभाव तथा प्रतिशोधात्मक अति विनाशकारी क्षमता के बीच मँडराते हैं।
ऐसे क्षेत्र को खँगालते हुए, जिस पर इस विषय पर लिखनेवाले विद्वानों तथा विशेषज्ञों ने शायद ही पहले कभी ध्यान दिया है, जनरल सहगल का नवीन दृष्टिकोण, खासकर इन विषयों पर, उनके मतों में देखा जा सकता है—
 पारिभाषिक गतिरोध समाप्त करना, जिससे राष्ट्रों के समूह हिचकिचाते हैं।
 इराक से परे देखना।
 आत्मघाती हमलों का बचाव सोचना।
 अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद के संकट से निपटने के लिए भावी योजनाएँ ।
यह पुस्तक सुबोध्य तरीके से उजागर करती है कि विश्व-प्रभुत्व के लिए सभ्यता संबंधी चालबाजी सैमुअल हटिंगटन की प्रसिद्ध प्राक्कल्पना के अस्तित्व में आने से काफी पहले आरंभ हो चुकी थी। जनरल सहगल की पुस्तक ‘अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद’ आतंकवाद के संबंध में संयुक्त राष्ट्र, सरकारों, कूटनीतिज्ञों, विद्वानों, नीति- निर्धारक समूहों, सैन्य तथा इंटेलिजेंस विशेषज्ञों और आम जनता के दृष्टिकोणों पर प्रभाव डालेगी।

Antarrashtriya Mudra Kosh (Icwa) by V. Srinivas

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भारत के वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी द्वारा भारत के आर्थिक इतिहास में महत्त्वपूर्ण पलों का व्यावहारिक विश्लेषण और भावी वैश्विक संकट के समाधान का निर्णय कर सकनेवाले अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष में बहुपक्षीयता का भविष्य।
यह पुस्तक वी. श्रीनिवास भारत सरकार के विशिष्ट अपर सचिव, कार्यकारी निदेशक, अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के पूर्व सलाहकार और भारत के वित्तमंत्री के निजी सचिव द्वारा 17 माह के शोध और साक्षात्कार के आधार पर अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के साथ भारत के संबंधों की अनेक बड़ी घटनाओं का व्यापक विश्लेषण है।
इसमें अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के संस्थापक सदस्य के रूप में भारत की भूमिका का परिदृश्य है। यह भारत के 1966, 1981 और 1991 अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष कार्यक्रमों, 2010 में आई.एम.एफ. से भारत द्वारा स्वर्ण क्रय, जी20 के उदय और विश्व में तीव्र गति से बढ़ती अर्थव्यवस्था के रूप में भारत के उद्भव के बारे में अंतर्दृष्टि प्रदान करती है। वी. श्रीनिवास ने अंतिम ऋणदाता के रूप में आई.एम.एफ. की भूमिका, सदस्य देशों के साथ निपटने में असीमित शक्ति की एक संस्था के रूप में आई.एम.एफ. 2008 के बाद वैश्विक वित्तीय संकट में आई.एम.एफ. की वृहत्तर भूमिका और अंतरराष्ट्रीय मुद्रा में चीन के उदय पर अंतर्दृष्टि प्रदान की है।
अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के साथ भारत के संबंध के परिप्रेक्ष्य में पहले 25 वर्षों पर व्यापक शोध है, जिसके बारे में गहन अध्ययन और शोध करके समस्त जानकारियाँ संकलित की गई हैं, जिन्होंने वैश्विक अर्थव्यवस्था को प्रभावित करने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

Antarrashtriya Sangathan by Anish Bhasin

SKU: 9789381063484

अंतरराष्‍ट्रीय संगठन ऐसे संगठन होते हैं, जो एकांतिक रूप से किसी विशेष राष्‍ट्र या राज्य के न होते हुए भी अंतरराष्‍ट्रीय संबंधों के संचालन में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, जैसे संयुक्‍त राष्‍ट्र संघ, उत्तर अटलांटिक संधि संगठन (नाटो), दक्षेस/सार्क, आसियान, एपेक, यूरोपीय संघ, राष्‍ट्रमंडल, अरब लीग, अफ्रीकी संघ, ओपेक, विश्‍व बैंक, विश्‍व व्यापार संगठन इत्यादि।
विगत दशक में अंतरराष्‍ट्रीय संगठनों पर अनेक ग्रंथ अंग्रेजी में प्रकाशित हुए हैं, किंतु हिंदी में इस विषय पर एक संपूर्ण पुस्तक का सर्वथा अभाव रहा है। अत: इसी अभाव की पूर्ति हेतु इस ग्रंथ ‘अंतरराष्‍ट्रीय संगठन विश्‍वकोश’ का सृजन किया गया है। प्रस्तुत पुस्तक में सौ से अधिक अंतरराष्‍ट्रीय संगठनों का सांगोपांग वर्णन है। प्रत्येक संगठन के अंत में उससे संबंधित महत्त्वपूर्ण तथ्यों को कोष्‍ठक में दिया गया है। पुस्तक की विषयवस्तु को उपयोगी बनाने हेतु अंतरराष्‍ट्रीय संगठनों से संबंधित कई पुस्तकों से संदर्भ भी लिये गए हैं।
आशा है, यह पुस्तक विद्यार्थियों, शोधार्थियों एवं प्रतियोगी परीक्षाओं के परीक्षार्थियों के लिए विशेष रूप से उपयोगी सिद्ध होगी।

Antim Satya Tatha Anya Kahaniyan by Himanshu Joshi

SKU: 9789387968622

प्रसिद्ध कथाकार हिमांशु जोशी की इन कहानियों में वैविध्य देखने को मिलता है। अचरज होता है-इतना वैविध्य एक ही व्यक्ति की रचनाओं में एक साथ कैसे संभव हो सकता है? छह दशक से अधिक के अपने कहानी लेखन में हिमांशु जोशी ने लगभग दो सौ कहानियाँ लिखीं। कई स्तरों को छूती आम आदमी की इन कहानियों में अदृश्य आग है, तपिश है, पीड़ा है, छटपटाहट है, और घुटन भी है। दर्द की ये तसवीरें मनुष्य-मन की व्यथा ही नहीं, आज के जी रहे मानव के अंतहीन अंतर्विरोधों को भी उजागार करती हैं।
कहानी मात्र कहानी न रहकर एक यथार्थ भी बन जाए, यह स्वयं में कम बड़ी उपलब्धि नहीं। जिए हुए यथार्थ की ये कहानियाँ कहानियाँ ही नहीं, दस्तावेज भी हैं–विसंगतियों से जूझ रहे अभिशप्त आदमियों के लिए। कहानी शुरू तो कहीं से भी हो सकती है यहाँ, लेकिन प्रायः इन कहानियों का अंत मास्टर स्ट्रोक के साथ होता है।
सुप्रसिद्ध कथाकार कमलेश्वर ने हिमांशु जोशी के विषय में लिखा है कि ‘स्वातंत्र्योत्तर हिंदी कहानी को हिमांशु जोशी की कहानियों के बगैर पहचाना नहीं जा सकता। हिंदी कहानी ने जितनी भी रचनात्मक मंजिलें तय की हैं, उन रचनायात्राओं और मंजिलों पर हिमांशु जोशी की कोई-न-कोई कहानी साथ चलती या मंजिल पर मौजूद मिलती है।’

Antriksh Prashnottary by Kali Shankar

SKU: 9788177212655

अनजाने अंतरिक्ष को जानने के लिए सामान्य मानव के मस्तिष्क में अनेक रोचक और कुतूहलपूर्ण प्रश्‍न उभरते रहे हैं तथा वह अंतरिक्ष के विषय में अधिकाधिक जानकारी पाने की प्रबल इच्छा रखता है ।
प्रस्तुत पुस्तक में अंतरिक्ष के विभिन्न विषयों- अंतरिक्ष स्टेशन, तारकीय / क्षुद्र ग्रहीय ” पुच्छल तारा अभियान, अंतरिक्ष परिवहन स्पेस शटल, अंतरिक्ष में प्रमोचन की प्रक्रिया, अंतरिक्ष के रिकॉर्ड, अंतरिक्ष दूरबीनें, कृत्रिम उपग्रह, स्पेस वॉक, अंतरिक्ष परिघटनाओं तथा अंतरिक्ष चयन और प्रशिक्षण का रोचक वर्णन किया गया है । आज अंतरिक्ष अन्वेषण के क्षेत्र में हो रहे विभिन्न अनुसंधानों -स्पेस एलीवेटर ( अंतरिक्ष परिवहन का भविष्य का सबसे सस्ता साधन), भूकंपों के पूर्वानुमान में उपग्रहों की भूमिका और सौर ऊर्जा उपग्रहों के बारे में भी रोचक व ज्ञानप्रद जानकारी दी गई है । अंतरिक्ष के दुर्लभ और रोमांचक आँकड़ों को 23 परिशिष्‍टों के माध्यम से स्पष्‍ट किया गया है । यह पुस्तक अंतरिक्ष विषय के जिज्ञासु पाठकों के कुतूहलपूर्ण प्रश्‍नों का समाधान करने में समर्थ सिद्ध होगी, ऐसा विश्‍वास है ।

Antriksha Mein Barhate Kadam by Rakesh Shukla , Kali Shankar

SKU: 9788177210897

अंतरिक्ष अन्वेषण मानव की जिज्ञासाओं को शांत करने, ज्ञानार्जन करने तथा ब्रह्मांड की अधिकाधिक जानकारी प्राप्‍त करने का सबसे सशक्‍त माध्यम है। अंतरिक्ष युग के प्रथम पचास वर्षों में अंतरिक्ष अन्वेषण के क्षेत्र में मानव ने अच्छीड़खासी प्रगति की है। आज हमें पता चल चुका है कि कई करोड़ आकाशगंगाएँ हमारे ब्रह्मांड का निर्माण करती हैं। अंतरिक्ष अन्वेषण कार्य आज भी निरंतर जारी है।
अंतरिक्ष अन्वेषण के कार्यों से मानव अनेक क्षेत्रों—कंप्यूटर, संचार, परिवहन, चिकित्सा, घरेलू उत्पाद इत्यादि में लाभान्वित हुआ है। अंतरिक्ष यात्रा एक अत्यंत साहसिक कार्य है। इसकी प्रगति में महान् अंतरिक्ष यात्रियों के साहस और शौर्य ने महत्त्वपूर्ण योगदान दिया है।
प्रस्तुत पुस्तक ‘अंतरिक्ष में बढ़ते कदम’ अंतरिक्ष अन्वेषण के क्षेत्र में हुई और हो रही अभूतपूर्व प्रगति से परिचय कराती है। इसके अध्ययन से शोधार्थी, विद्यार्थी ही नहीं, जनसामान्य भी समान रूप से लाभान्वित होंगे।

Antyodaya by Prabhat Jha

SKU: 9789352669875

देश में जब भी सामाजिक-आर्थिक चिंतन की बात की जाती है तो गांधी, जेपी-लोहिया और दीनदयालजी का नाम लिया जाता है।
सामाजिक जीवन में और समाज
के आर्थिक जीवन में यदि हमारी अर्थव्यवस्था अंत्योदय युक्त होगी तो समाज-जीवन की चिती की साधना स्वतः सफल होती जाएगी। अंत्योदय शब्द में संवेदना है, सहानुभूति है, प्रेरणा है,
साधना है, प्रामाणिकता है, आत्मीयता है, कर्तव्यपरायणता है तथा साथ ही उद्देश्य की स्पष्टता है। दीनदयालजी कहा करते थे कि ‘जब तक अंतिम पंक्ति में खड़े व्यक्ति का उदय नहीं होगा, भारत का उदय संभव नहीं है’। वे अश्रुपूरित आँखों से आँसू पोंछने और उसके चेहरे पर मुसकराहट को अंत्योदय की पहली सीढ़ी मानते थे।
दीनदयालजी के अंत्योदय का आशय राष्ट्रश्रम से प्रेरित था। वे राष्ट्रश्रम को राष्ट्रधर्म मानते थे। अतः कोई श्रमिक वर्ग अलग नहीं है, हम सब श्रमिक हैं।
राष्ट्रविकास में सबको सम्मिलित कर भारत निर्माण का मार्ग प्रशस्त करनेवाली चिंतनपरक पुस्तक।

Anubhav Ke Bol by Ramji Bhai

SKU: 9789390378968

परिवार और समाज प्रबोधन में कथाओं का विशेष महत्त्व है। अनेक गुण एवं जीवन-मूल्य कहानियों के माध्यम से समाज और व्यक्तियों के जीवन में उतरते हैं।
महापुरुष, संत या समाज के प्रभावी लोगों की कथाओं की एक विस्तृत-विलक्षण धारा भारत में है, किंतु कभी-कभी सहज, सरल, निरक्षर या कभी-कभी तो बालकों की कहानियाँ भी बड़ी प्रेरणादायक और दिशा-दर्शक होती हैं, ऐसा सभी का व्यापक अनुभव है। वेद और उपनिषदों में उल्लिखित अनेक महत्त्व के तत्त्व एवं सत्य को सामान्य लोगों तक पहुँचाने के उद्देश्य से अपने यहाँ पुराणों की रचना की गई है। संत, महात्मा या कथाकार द्वारा रोचक कहानियों के माध्यम से वेद और उपनिषदों में निहित गहन तत्त्व जनसामान्य तक पहुँचाने की परंपरा आज भी चल रही है।
‘अनुभव के बोल’ संग्रह की कहानियाँ परिवार-प्रबोधन और लोक-प्रबोधन की दृष्टि से अत्यंत उपयोगी सिद्ध होंगी। अनेक कहानियाँ पढ़ते समय हृदय को झकझोरती हैं, छू जाती हैं, आँखें नम कर जाती हैं। जिन महान् जीवन-मूल्यों के कारण मानवता समृद्ध होती है, ऐसे चिरकाल तक चलनेवाले समयातीत मूल्यों की शिक्षा सहज ही इन कहानियों को पढ़ने से होगी।

Anubhuti by Chiranjeev Sinha, Harshashree

SKU: 9789353228453

ढाई अक्षर का शब्द रिश्ता एक गजब का गैरमामूली जादुई शब्द है। रिश्ते दरअसल खुशी और गम के सच्चे साझीदार होते हैं। अपनों से दिल के तार जुड़ने पर जहाँ ये मुसकराने की वजह बन जाते हैं, वहीं उनसे बिछुड़ने पर हमारी आँखों की कोरों को धीरे से नम कर जाते हैं।
हर रिश्ते की अपनी एक अलग सुगंध होती है, क्योंकि हर रिश्ता उस व्यक्ति द्वारा दूसरे व्यक्ति के साथ किए गए विशिष्ट संव्यवहार से अपने तरीके से पुष्पित-पल्लवित होता है।
रिश्तों और शब्दों का संबंध बेहद करीबी है। व्यक्ति और अक्षर क्रमशः रिश्ते और शब्दों के संरचनात्मक अवयव हैं। हमारी कोमल भावनाएँ जब शब्दों के रूप में छोटी सी पाती का आकार ग्र्रहण कर रही होती हैं तो ऐसा लगता है कि हम बिना किसी अवरोध के अपने प्रिय के दिल में गहरे तक उन्मुक्त पंछी की तरह प्रवेश कर रहे हों। इसलिए शब्दों से बुनी हुई कहानियाँ पाठकों के अंतस में संवेदना और आपसी लगाव का भाव जगाकर वर्तमान समय में तेजी से दरककर बिखर रहे रिश्तों को सहेजने का एक अत्यंत प्रभावी माध्यम हैं।
प्रस्तुत कहानी-संग्रह में लेखकद्वय की प्रत्येक कहानी इसी भावना को लिये हमारे आस-पास के समाज में बिखरे रिश्तों में समाए उस अनूठे संसार को कागज पर प्रतिबिंबित करती है, जहाँ एक-दूसरे के लिए समर्पण है, चिंता है, तड़प है और कभी-कभी मौन रहकर भी दिल के रास्ते भावनाओं का संपूर्ण संप्रेषण है।

Anupam Kahaniyan by Yashwant Mande

SKU: 8173156875

अनुपम कहानियाँ
अनुपम कहानियाँ संग्रह की कहानियों की विशेषता इनकी विविधता है। सारी कहानियाँ ऐसे विषयों पर हैं जिन पर आज तक कहानियाँ नहीं लिखी गई हैं। ‘सम्राट्’ कहानी शिवाजी के आगरा से भाग जाने की घटना का रोमांचक वर्णन है। ‘आतंक’ कहानी उग्रवाद को एक चामत्कारिक रूप देती है। वसिष्‍ठ श्रीरामचंद्र के गुरु थे और ‘वसिष्‍ठ’ कहानी उनके जीवन पर नया प्रकाश डालती है। ‘सह्याद्रि’ कहानी पाठकों को अपने साथ पर्यटन पर ले जाती है और फिर पाठकों को वर्तमान जीवन के संघर्ष पर विचार करने के लिए विवश कर देती है। इसी तरह सारी कहानियों में ताजगी और नयापन है।
यशवंत मांडे की शैली और प्रस्तुतीकरण आकर्षक है। भाषा का प्रयोग कहानी के विषय के अनुसार और सरल है। इन कहानियों में किसी प्रकार की अश्लीलता नहीं है और इसे बच्चे, बूढ़े और स्‍त्रियाँ सभी पढ़ सकते हैं।
ये कहानियाँ वास्तव में अनुपम हैं और हमें आशा है कि पाठकों को पसंद आएँगी।

Anuvad Aur Anuprayog by Dinesh Chamola ‘Shailesh’

SKU: 9789384343972

अनुवाद का संबंध भाव, विचार, सृजन एवं रचना की प्रारंभिक प्रक्रिया से स्वतः ही जुड़ जाता है। यद्यपि अनुवाद कही हुई बात अथवा ज्ञात उक्ति का पुनर्कथन है, लेकिन क्या भावों का अनुवाद विचार; विचारों का अनुवाद रचना नहीं है? अनुभूति ही दूसरे अर्थों में अनूदित अथवा अंतरित होकर अन्यान्य अभिव्यक्तियों का रूप ग्रहण कर चिंतनधारा को विस्तारित करती आई है।
अनुवाद वस्तुतः किसी एक भाषा में बहुप्रचलित अथवा अत्यल्प प्रचलित भाव, ज्ञान अथवा किसी भी प्रकार की संपदा का अधिकाधिक श्रोताओं, उपभोक्ताओं व पाठकों तक संबंधित ज्ञान, भाव, विचार अथवा सामग्री के प्रचार-प्रसार का एक प्रभावी माध्यम है।
अनुवाद आज के सामाजिक, सांस्कृतिक, साहित्यिक, राजनैतिक, आर्थिक व व्यावहारिक जीवन का ही नहीं, बल्कि समेकित जीवन पद्धति की अपरिहार्य अपेक्षा हो गई है। इसके अभाव में जीवन में अभिव्यक्ति व बहुविध ज्ञानार्जन की कल्पना नहीं की जा सकती।
अनुवाद आज के ज्ञान-प्रसार का प्राण-तत्त्व है। इस पुस्तक में विभिन्न मंत्रालयों, कार्यालयों तथा साहित्य के अन्यान्य क्षेत्रों में प्रयुक्त व हस्तगत, संगृहीत विगत दशकों की बिखरी शब्द संपदा को अलग-अलग अनुप्रयोगों के संदर्भ में सहेजने का एक विनम्र प्रयास किया गया है। कार्यालयीन संदर्भों के साथ-साथ यह लेखक, विद्यार्थी एवं विश्वविद्यालय के अनुवाद से जुड़े शोधार्थियों के लिए भी समान रूप से उपादेय है।

Apana Paraya by Dr. Ramesh Pokhriyal ‘Nishak’

SKU: 9788173158896

अपना पराया एक सामाजिक उपन्यास है, जिसमें सुप्रसिद्ध उपन्यासकार डॉ. रमेश पोखरियाल ‘िनशंक’ बड़े कौशल से पर्वतीय अभावमय जीवन, सामाजिक विसंगतियों, अनमेल विवाह, विधवा-समस्या, सास-बहू-संबंध, वर्तमान शहरी प्रभाव, शिक्षा-स्वास्थ्य-िबजली-पानी-सड़क आदि और अन्य कई ग्रामीण समस्याओं का चित्रण कर उनका समाधान पाठक के ऊपर छोड़ देते हैं। कुछ समस्याओं-शैक्षिक आत्मनिर्भरता, संशोधित घराट योजना आदि का वह समाधान भी प्रस्तुत करते हैं।
उपन्यास मानवीय संबंधों और संवेदनाओं को उजागर करने में समर्थ है। आत्मीयता, विश्वास, आस्था और स्नेह-प्रेम के भाव पराए को भी अपना बना लेते हैं और इनके अभाव में अपना भी पराया-सा लगता है। ग्रामीण मुहावरेदार और लोकोक्तिपरक वाक्य- रचना उपन्यास के आंचलिक वैशिष्ट्य को सामने लाती है।
पहाड़ के रीति-िरवाज एवं सांस्कृतिक जीवन-मूल्यों का दिग्दर्शन कराता एक मर्मस्पर्शी, संवेदनशील उपन्यास!

Apane Bheetar Ka Meghdoot by Amarendra Khatua

SKU: 9789380823683

‘आत्मा बेचारी कितनी गहराई में होती है
हाड़-मांस-चर्म की पोशाक पहन,
इंद्रियों का साम्राज्य बना
सामने की दुनिया में खुद को
प्रकट और नामित कर।’

‘याद रखो
जो सुख का है वह सबका है
जो दु:ख का है सिर्फ अपना है।’

‘वजह हो या न हो मेरी कविता में
मेरे समय के और बाद के
हर कवि की कविता के अणुओं और
परमाणुओं में
हो प्रचुर शक्‍ति।’

‘अपनी अंगिक असफलता समझने को
कवि के पास नहीं होते शब्द।’

‘अभव के इस चकित महापर्व से ही तो
जन्म लेते हैं हमारे अल्पायु संबंध।

‘इतनी गहरी यातना को
क्या घाव की तरह
नहीं पहना जा सकता
रोजाना की पोशाक के नीचे?’

Apane Chanakya Swayam Banen by Smt. Renu Saini

SKU: 9789389471007

चाणक्य ने अपने पिता की हत्या के बाद बचपन से ही जीवन का उद्देश्य बना लिया था मगध को एक नेक, सुशील, ईमानदारी और प्रतापी राजा प्रदान करना। अपने इस संकल्प को पूर्ण करने के लिए उन्होंने दिन-रात एक कर दिया। उन्होंने सदाचारी और पराक्रमी युवराज खोजने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगा दिया और चंद्रगुप्त को ढूँढ़ निकाला। चंद्रगुप्त का पूरा व्यक्तित्व चाणक्य के द्वारा ही गढ़ा गया था। उन्होंने अपने अनेक शिष्यों को जीवन के पाठ पढ़ाए। वे यहीं तक नहीं रुके अपितु अपने ज्ञान को ‘अर्थशास्त्र’ पुस्तक में समेट दिया। अर्थशास्त्र का ग्रंथ आज अनेक रूपों में समाज के पास उपलब्ध है; बस आवश्यकता है तो उस ग्रंथ को गहनता से पढ़ने की, समझने की और जानने की।
चाणक्य ने अपने बुद्धि-कौशल से हर तरह की बाधा से पार पाने के उपाय निकाले हुए थे, जो आज भी उपयोगी हैं। सफलता पाने के लिए यथेष्ट है कि व्यक्ति चाणक्य के व्यक्तित्व को पढ़ें, समझें, जानें और फिर खुद को पहचानें। ऐसा करके प्रत्येक व्यक्ति अपने जीवन को एक नए बिंदु पर ले जा सकता है। वह नया बिंदु संतुष्टि, सुख, खुशी, स्वास्थ्य, समृद्धि सबकुछ प्रदान करता है।
यह पुस्तक आचार्य चाणक्य के जीवन से प्रेरणा लेकर अपने को उनके अनुरूप ढालकर सफलता के शिखर छूने का एक प्रबल माध्यम है।

Apharan by Ramdev Shukla

SKU: 9788177212303

‘हम लोग अपनी शैक्षिक योग्यता प्रमाणित कर चुके हैं। जवान हैं, मेहनत कर सकते हैं। कोई कमी नहीं है, किंतु आपकी महान् व्यवस्था हमारे लिए दैनिक मजूर के बराबर वेतन का भरोसा भी तो हमें नहीं दे पाती। हम क्या करें अपनी योग्यता का? हम क्या करें अपनी ऊर्जा का? क्या करें अपने खौलते लहू का? और अपने उबलते हुए गुस्से का क्या करें? हमारे साथ पढ़नेवाले फिसड्डी लड़के पाँच सितारा जिंदगी जी रहे हैं, सिर्फ इसलिए कि वे किसी मंत्री के बेटे हैं या आई.ए.एस. अफसर के दामाद हैं या बड़े तस्कर के सपूत हैं!’
‘जिन्होंने हमें पहचाना, हमारे माथे पर लगा बेरोजगार का दाग पोंछ दिया, हमें बीस, तीस, कभी-कभी चालीस हजार रुपए महीने तक वेतन देते हैं, वे कौन हैं, हम नहीं जानते? जानने की उत्सुकता न रखना ही हमारी ‘योग्यता’ है। आपकी न्याय-व्यवस्था देश को बेचकर स्विस बैंक भरनेवालों को गंदा नहीं कहती। भूख से बिलबिलाता बच्चा होटल से रोटी चुराकर खा ले तो उसके लिए जेल की सजा है और देश को हर तरह से लूटनेवालों के लिए है सार्वजनिक अभिनंदन-समारोह।’
—इसी संग्रह से

‘अपहरण’ की कहानियाँ समाज में व्याप्‍त सामाजिक-आर्थिक असमानता, कुरूपता और विसंगतियों को तो उजागर करती ही हैं, साथ ही राजनीति, चुनाव और मानवीय संबंधों का गहराई से विश्‍लेषण करती हैं। पठनीयता से भरपूर सुरुचिपूर्ण कहानियाँ।