Aao Karein Himalaya Me Tracking by Girish Chandra Maithani
आओ करें हिमालय में ट्रैकिंग-गिरीश चंद्र मैठाणी
यात्राशास्त्र पर वैसे अब तक बहुत लिखा गया है, पर ट्रैकिंग पर यह कृति अद्वितीय है। अपनी जान जोखिम में डालकर ऐसी दुर्गम यात्राओं पर निकल पड़ना कम जीवट का काम नहीं।
प्रस्तुत पुस्तक में अनेक लोमहर्षक पद-यात्राओं का वर्णन है। ‘आदि कैलास-ओम् पर्वत ट्रैक’, ‘डोडीताल ट्रैक’, ‘काक भुशुंडिताल ट्रैक’, ‘काफनी-पिंडारी-सुंदरडुंगा ट्रैक’ आदि अनेक अनुभव पाठक को रोमांचित करते हैं। यह कार्य सबसे कठिन है। पर अब ट्रैकिंग या पर्वतारोहण की परंपरा धीरे-धीरे बढ़ रही है, इस दृष्टि से यह पुस्तक बहुत कुछ अनुभवों और अनुभूतियों के द्वार खोलती है। यह नई चुनौतियाँ प्रस्तुत करती है। नए लोगों के लिए ट्रैकिंग के अनेक सुझावों से पुस्तक की उपयोगिता और भी बढ़ गई है।
निस्देंह हिंदी साहित्य में यह कृति एक बहुत बड़े अभाव की पूर्ति भी करेगी। जो जातियाँ खतरा उठाना जानती हैं, वे ही संसार में कुछ नया रचने में सफल होती हैं।
नई पीढ़ी नई चुनौतियों के साथ आगे बढ़ रही है। हर क्षेत्र में अपनी उपस्थिति दर्ज करानेवाले नवयुवक एवं नवयुवतियाँ उल्लेखनीय कार्य कर रहे हैं। आज आवश्यकता है उन्हें प्रेरित करने के लिए ऐसे प्रयासों की। आशा है, यह पुस्तक नई पीढ़ी को ही नहीं, अन्य लोगों को भी प्रभावित एवं प्रेरित करेगी।
Language |
Hindi |
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