Gandhi Aur Ambedkar by Ganesh Mantri
गांधी और आंबेडकर पर अनेक छोटे-बडे़ अध्ययन हुए हैं; किंतु अस्पृश्यों की सामाजिक स्थिति में परिवर्तन की दृष्टि से उनके विचारों और कार्यों का अध्ययन आंशिक रूप से ही हुआ है। प्रस्तुत अध्ययन का उद्देश्य अस्पृश्यता के परिप्रेक्ष्य में गांधी और आंबेडकर का समग्र रूप से तुलनात्मक विवेचन करना है।
इस पुस्तक में इन दोनों महान् व्यक्तियों के जीवन-संदर्भों, विचारधाराओं, स्वतंत्रता-संग्राम के समय की सामाजिक-राजनीतिक प्रक्रियाओं का विश्लेषण करते हुए, भारत की वर्तमान परिस्थितियों में दोनों के विचार और कर्म की भूमिका तथा दलितों की वर्तमान स्थिति में इनकी प्रासंगिकता की खोज की गई है।
लेखक का यह विश्वास है कि ऐतिहासिक स्थिति जो भी रही हो, किंतु वर्तमान संदर्भ में गांधी और आंबेडकर एक-दूसरे के प्रतिस्पर्धी नहीं वरन् पूरक हैं। इन दोनों से एक साथ प्रेरणा लेकर
ही ऐसी सामाजिक-राजनीतिक शक्ति उभारी जा सकती है, जो भारतीय समाज में फैली जातिप्रथा और उससे जुड़ी सामाजिक विषमताओं से जूझने तथा जीतने में समर्थ होगी।
Language |
Hindi |
---|
Kindly Register and Login to Lucknow Digital Library. Only Registered Users can Access the Content of Lucknow Digital Library.